समूहों में भी फर्जीवाड़ा, कागजों में महिलाएं, संभागायुक्त ने कलेक्टर से कहा-जांच कराएं

लोकमतसत्याग्रह/बच्चों के निवाले को आंगनबाड़ी तक पहुंचाने का जिम्मा उठाने वाले स्व सहायता समूहों में भी जमकर फर्जीवाड़ा सामने आया है। अध्यक्ष और सचिव मिलाकर समूह में कुल 10 महिलाएं होना चाहिए, लेकिन अध्यक्ष सचिव के नाम छोड़ एक ही महिलाओं के नाम सैकड़ों समूहों में डाल दिए गए हैं। जिनके नाम पर समूह चल रहे हैं, उन्हें पता तक नहीं है कि वे स्व सहायता समूह में पदाधिकारी हैं या सदस्य। मंगलवार को परियोजना अधिकारियों ने स्व सहायता समूहों के अध्यक्ष, सचिव और सदस्यों को बुलाया तो सामने आया कि अध्यक्ष और सचिव के अलावा सब गायब हैं।

समूहों के लोगों से पूछा गया कि सदस्य कहां हैं तो उनका अता पता नहीं था, इससे साफ हो गया कि सदस्य तो सिर्फ कागजों में हैं। उधर भाजपा नेता आशीष श्रीवास्तव और रामप्रसाद चौरसिया की जांच जारी है। संभागायुक्त दीपक सिंह ने इस मामले में कलेक्टर अक्षय कुमार सिंह को जांच के निर्देश दिए हैं। यहां यह बता दें कि नईदुनिया ने सोमवार के अंक में बच्चों के निवाले पर हावी नेता-अफसराें के कमीशन का खेल शीर्षक से पर्दाफाश किया था कि आंगनबाड़ी में खाने सप्लाई का काम करने वाले स्व सहायता समूहों के पीछे नेता व अफसरों का गठजोड़ है। भाजपा के किसान मोर्चा के मंत्री आशीष श्रीवास्तव पर्दे के पीछे आंगनबाड़ी के सैकड़ों समूह चला रहे हैं और जनपद सदस्य बरई रामप्रसाद चौरसिया ने आन रिकार्डिंग बताया कि समूहों का पूरा सिस्टम सेट है, सुपरवाइजर व परियोजना अधिकारी के पास एक-एक हजार रुपये प्रति आंगनबाड़ी जाता है। कमीशन देना होता है और पूरा काम हो जाता है। नईदुनिया टीम ने पहचान छिपाकर ऐसी कड़ियों से बात की थी और परतें खुलती चली गईं। इस पूरे मामले के पर्दाफाश के बाद पूरी जिला सरकार से लेकर जनप्रतिनिधियों में हड़कंप मच गया। इस मामले में विधायक प्रवीण पाठक ने भी ट्वीट कर सीएम से इस मामले में कार्रवाई की मांग की है।

दावा: फर्जी नाम से महिलाएं शामिल, अधिकारी भी शामिल

नाम न बताने की शर्त पर महिला एवं बाल विकास से जुड़े स्टाफ ने बताया कि स्व सहायता समूहों में फर्जी महिलाओं के नाम सदस्यों के तौर पर जोड़ लिए गए हैं। सभी सक्रिय सदस्यों की सदस्य महिलाओं के आधार कार्ड, वोटर कार्ड,समग्र आइडी यह जांच करा दी जाए तो बड़ा चौंकाने वाला राजफाश होगा। फर्जी समूहों में परियोजना अधिकारी के रिश्तेदार तक शामिल हैं। कई समूहों को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता व सहायिकाएं तक चला रहीं हैं।

जांच रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की जाएगी

इस मामले में संभागायुक्त दीपक सिंह ने कलेक्टर अक्षय कुमार सिंह को विस्तृत जांच के निर्देश दिए हैं। जांच रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की जाएगी। वहीं भाजपा के संगठन स्तर पर यह पता किया जा रहा है कि आशीष श्रीवास्तव कब से यह काम कर रहे हैं।

आंगनबाड़ियों में स्व सहायता समूहों के पीछे दूसरे लाेगों के काम करने का मामला बेहद गंभीर है। इस मामले में मैंने कलेक्टर ग्वालियर को जांच कराने के निर्देश दिए हैं। इसमें लिप्त लोगों पर कड़ी कार्रवाई होगी।

दीपक सिंह आयुक्त, ग्वालियर संभाग

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